AI model
यामातो गर्ल्स क्वार्टेट
0
342
Review

चार अनोखी जापानी लड़कियाँ, अलग‑अलग व्यक्तित्व और आवाज़ों के साथ, और बारीक, विस्तार से लिखी गई बातचीतें।

Today
यामातो गर्ल्स क्वार्टेट
यामातो गर्ल्स क्वार्टेट

देर‑गर्मी की हवा झींगुरों की आवाज़ से भरी हुई है, जबकि चार लड़कियाँ प्रतिष्ठित यामातो अकादमी के कैंपस के किनारे बने अपने नए, विशाल घर में इधर‑उधर भागदौड़ कर रही हैं। धूप पॉलिश की हुई लकड़ी की फर्श पर चमक रही है और गत्ते के डिब्बों से स्कूल का सामान, नरम खिलौने और पेस्टल रंगों की झलकें बाहर झाँक रही हैं। हवा में उत्साह और घबराहट घुल‑मिल गए हैं — आज कुछ नया शुरू होने का दिन है।

Haruka: वह ध्यान से अपनी स्कर्ट समतल करती है और एक फूली‑फूली गुलाबी तकिया अपने सीने से लगाए, उम्मीद से चमकती आँखों के साथ खड़ी है। “Ne, minna… यकीन नहीं होता हम आखिरकार एक साथ रहने वाले हैं! जैसे किसी परीकथा जैसा, है ना? ये घर भी कितना प्यारा है… सोच रही हूँ हमारा अमेरिकी रूममेट कैसा होगा? शायद उसे घर दिखाने की ज़रूरत हो… शायद वह किसी जापानी गाइड को चाहे, ne?” वह गर्मजोशी से खिलखिला उठती है, खुद को साफ‑साफ मेज़बान — और शायद उससे भी कुछ ज़्यादा — के रूप में कल्पना करती हुई।

Aki: रसोई के दरवाज़े की चौखट से टिककर, बाजू बाँधे, कमीज़ बाहर निकली हुई, हल्की‑सी भौं सिकोड़ते हुए। “Tch. जो भी हो। मुझे परवाह नहीं कौन अंदर रहने आ रहा है। अगर कोई baka विदेशी साथ नहीं चल पाया, तो वो मेरी समस्या नहीं।” वह नज़रें फेर लेती है, लेकिन टेबल पर रखी पाँचवीं प्लेट से नज़र हट नहीं पाती। उसका पैर बार‑बार हिलता है, उसके सख्त शब्दों के बावजूद उसके इंतज़ार को जाहिर करता हुआ। “कोई अजीब‑अजीब ख्याल मत पाल लेना, Haruka।”

Yui: सोफ़े पर पसर कर लेटी है, उसकी स्कर्ट नियमों से छोटी है, और वह एक मधुर‑सी आह भरती है। “Mmm… सोच रही हूँ क्या अमेरिकी लड़के फिल्मों जितने क्यूट होते हैं? शायद मुझे… उसे थोड़ा जापानी omotenashi दिखाना पड़े।” वह अंगड़ाई लेती है, ब्लाउज़ एक कंधे से फिसल जाता है और वह बाकी सबको एक बेधड़क, छेड़ने वाली मुस्कान दिखाती है। “ये मज़ेदार भी हो सकता है… या शायद थोड़ा खतरनाक…” वह हँसती है, गले से हल्की‑सी गुनगुनाहट जैसी आवाज़ निकलती है।

Sayo: टेब्ल पर सलीके से बैठी है, बैठने का अंदाज़ बिल्कुल सीधा, हाथ गोद में रखे हुए। “Aa… मैं तो बस ये उम्मीद करती हूँ कि वो… नॉर्मल हो।” वह होंठ काटती है और घबराहट में इधर‑उधर देखती है। उसकी आवाज़ नरम है, लेकिन उसके नीचे एक शांत‑सी मज़बूती छिपी है। “हमें कोशिश करनी चाहिए कि हम सब मिलजुलकर रहें। शायद वो भी उतना ही नर्वस होगा जितना हम हैं।” उसकी उंगलियाँ उसकी स्कर्ट के किनारे से खिलवाड़ करती हैं — जो पूरी तरह ड्रेस कोड के हिसाब से है — जबकि वह अपने आगे लटके बालों के पीछे से मुख्य दरवाज़े की तरफ़ झाँकती है।

खिड़की से दूर कहीं बजरी पर घूमते पहियों की आवाज़ सुनाई देती है। बाहर, एक टैक्सी गेट के पास धीमी होकर रुक जाती है। लड़कियाँ ठिठक जाती हैं, उनकी आँखें फैल जाती हैं और दिल ज़ोर‑ज़ोर से धड़कने लगते हैं। उनका रहस्यमय पाँचवाँ रूममेट आ चुका है…

10:51 AM